सरकार ने किसानों के लिए शुरू की कपास अनुदान योजना मिलेगे ₹2000 प्रति एकड़

Kapas Anudan Yojana: जिन भी किसानों ने अपने खेतों में कपास की बिजाई की है उनके लिए हरियाणा सरकार एक नई योजना लेकर आई है. किसान हमारे देश का आधार है. हमारे देश की जनसंख्या का एक बड़ा हिस्सा खेती पर निर्भर करता है. ऐसे में सरकार भी किसानों की सहायता के लिए समय-समय पर नई नई योजनाएं क्रियान्वित करती रहती है. हरियाणा सरकार ने भी अपने किसानों के लिए नई योजना शुरू की है. इस योजना का नाम कपास अनुदान योजना है. योजना के तहत जो किसान अपने खेत में कपास की बुवाई करते हैं उन्हें सरकार की तरफ से अनुदान प्रदान किया जाता है.

सरकार ने किसानों के लिए शुरू की कपास अनुदान योजना

हरियाणा कृषि विभाग ने वर्ष 2024-25 में कपास की खेती तथा इसके अतिरिक्त सूक्ष्म पोषक तत्व स्प्रे और आईपीएम के छिड़काव को बढ़ावा देने के लिए राज्य के किसानों से योजना के तहत ऑनलाइन आवेदन मांगे हैं. सरकार की इस योजना में राज्य के वो किसान शामिल है जिसने अपने खेत में बीटी कपास की बुवाई की है. इन सभी किसानों को 2000 रुपये की सब्सिडी प्रदान की जाएगी.

इस योजना के तहत किसानों को ₹2000 प्रति एकड़ प्रोत्साहन राशि दी जाती है. हरियाणा कृषि और किसान कल्याण विभाग ने कपास सब्सिडी सीजन 2024 के लिए एक अधिसूचना को जारी किया है.  जो भी इच्छुक किसान है वो अपना आवेदन 05 सितंबर 2024 से लेकर 30 सितंबर 2024 तक ऑनलाइन आवेदन भेज सकता है. कोई भी किसान अधिकतम 2 एकड़ का अनुदान प्राप्त कर सकता है.

राज्य के 17 जिलों की होती है कपास की खेती

हरियाणा की खरीफ की नकदी फसलों में कपास का अहम स्थान है. राज्य के 17 जिलो में कपास की खेती होती है. कपास में मुख्य रूप से बी0टी0 हाईब्रिड किस्मो की बिजाई की जाती है. कपास की ज्यादा पैदावार हो इसके लिए उन्नत किस्मों को सही समय पर बोने, उपयुक्त खाद देने व समय पर पौध संरक्षण उपाय अपनाने की तरफ विशेष ध्यान देना चाहिये. बी0टी0 कपास की बिजाई का सबसे उत्तम  समय 15 अप्रैल से 30 मई है.

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कपास की बुवाई करते वक्त ध्यान रखिए यह बातें 

बी0टी0 कपास की बिजाई के लिए कतार से कतार की दूरी 67.5 सै.मी. तथा पौधे से पौधे की दूरी 60 सै.मी. रखनी चाहिए (या) कतार से कतार की दूरी 100 सै.मी. व पौधे से पौधे की दूरी 45 सै.मी. रखनी चाहिए. पूर्व से पश्चिम की दिशा में कतारों में बोई गई कपास उत्तर से दक्षिण दिशा में बोई गई कपास के मुकाबले ज्यादा पैदावार देती है. यह उत्पादन बढ़ाने का एक अच्छा साधन है.

एक स्थान पर रखें एक ही पौधा

बिजाई के दो-तीन हफ्ते के बाद कतारों में पौधों के सिफारिश किये आपसी फासले को ध्यान में रखकर जितने भी फालतू रोगग्रस्त/कीट प्रभावित व कमजोर पौधे हों उन्हें हटा दें. एक स्थान पर एक ही पौधा रखें. पौधों की छंटाई पहली सिंचाई से पहले पूरी कर लेनी चाहिए. कपास की अच्छी पैदावार लेने के लिए खाद, निराई-गुराई, सिंचाई, चुनाई, कीड़े व बीमारियों के प्रबंधन से सम्बन्धित विस्तृत जानकारी के लिए हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय, हिसार द्वारा प्रकाशित खरीफ फसलों की समग्र सिफारिशों के मुताबिक करें.

योजना का लाभ लेने के लिए जरूरी दस्तावेज 

  • MFMB ID No, Mobile No, Parivar Pehchan Patra(PPP)
  • पैन कार्ड
  • आरक्षण प्रमाण पत्र, अगर कोई हो
  • उपक्रम परफॉर्मा
  • भूमि धारण प्रमाण पत्र (फर्द/जमा).

कपास अनुदान योजना के लिए कैसे करें आवेदन

  • हरियाणा कपास अनुदान योजना में आवेदन करने के लिए आपको सबसे पहले एग्री हरियाणा की ऑफिसियल वेबसाइट पर जाना होगा।
  • उसके बाद आपको INM IPM रजिस्ट्रेशन पर क्लिक करना होगा जिसका सीधा लिंक आपको निचे दे दिया गया है।
  • रजिस्ट्रेशन करने के लिए आपको मांगी गयी सभी जानकारी को सही सही भरना होगा।
  • जानकारी भरने के बाद आपको मांगे गए जरूरी दस्तावेजों को अपलोड करना होगा।
  • फाइनल सबमिट करने के बाद आपको उसका प्रिंट संभाल कर रखना होगा।
  • इस प्रकार से आप कपास अनुदान योजना के लिए आवेदन कर सकते है।

कपास अनुदान योजना में आवेदन हेतु लिंक्स

डाउनलोड ऑफिसियल नोटिफिकेशन : नोटिफिकेशन

अप्लाई ऑनलाइन फॉर्म : अप्लाई ऑनलाइन

किसानों के लिए अन्य योजनाये देखें : सरकारी योजना

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